नारकोटिक कंट्रोल ब्यूरो (NCB) और सीआरपीएफ (CRPF) ने संयुक्त अभियान चलाकर असम, त्रिपुरा और मिजोरम तक फैले एक बड़े इंटरनेशनल ड्रग सिंडिकेट (International Drug Syndicate) का पर्दाफाश करते हुए 5.9 किलो मेथ जब्त की है। यह कार्रवाई 3 दिसंबर को आइजोल (मिजोरम) के पास की गई। इस दौरान कुल 8 तस्करों को गिरफ्तार किया गया, जिनमें मुख्य सरगना किंगपिन जबरुल हक (Jabrul Haq) भी शामिल है। वह असम के करीमगंज का रहने वाला है।
जांच में सामने आया है कि जबरुल हक (Jabrul Haq) पर पहले से ही 3 ड्रग (Drug) तस्करी के केस दर्ज हैं। त्रिपुरा के धरणीपुर थाने के एक मामले में वह जमानत पर बाहर था। शुरुआती जांच में पता चला है कि पकड़ी गई मेथ इंडोम्यांमार बॉर्डर (चाम्फाई) से तस्करी कर मिजोरम लाई गई थी और इसे आगे त्रिपुरा के सोनामुरा होते हुए बांग्लादेश भेजने की तैयारी थी। पिछले 15 दिनों में यह दूसरी बड़ी कार्रवाई है। वहीं 20 नवंबर को एनसीबी ने गुवाहाटी से अबू सालेह उर्फ मीतू को भी पकड़ा था, जो इसी तरह के ट्रांस-नेशनल ड्रग (Drug) नेटवर्क का हिस्सा है और उस पर भी कई मामले दर्ज हैं।
गुवाहाटी में एक नया रीजनल ऑफिस
नारकोटिक कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) के अधिकारी का कहना है कि अबू सालेह मोहम्मद सैफुद्दीन उर्फ मिटू, जो नॉर्थ ईस्टर्न इलाके में एक ट्रांसनेशनल ड्रग सिंडिकेट का मेंबर भी है। उसके खिलाफ ड्रग ट्रैफिकिंग के कई केस भी हैं। राज्य अधिकारियों के साथ बेहतर तालमेल, रियल-टाइम इंटेलिजेंस शेयर करने और एनसीबी के ऑपरेशनल एफिशिएंसी के लिए गुवाहाटी में एक नया रीजनल ऑफिस बनाया गया है।
तस्करों को काबू करने के लिए बनाए फील्ड ऑफिस
ईटानगर (अरुणाचल प्रदेश), सिलीगुड़ी (पश्चिम बंगाल) और अगरतला (त्रिपुरा) में नई जोनल यूनिट खोली गई हैं। आइजोल (मिजोरम) और दीमापुर (नागालैंड) में फील्ड ऑफिस बनाए गए हैं। जनवरी 2024 में अगरतला जोनल यूनिट बनने और इस साल फरवरी से फील्ड ऑफिस आइजोल शुरू होने के बाद मिजोरम में एनसीबी की पहुंच काफी बढ़ गई है, जिससे पिछले दो सालों में 256 किलो मेथ और 2.2 किलो हेरोइन जब्त की गई। साथ ही, 13 एनडीपीएस के मामले दर्ज किए गए, जिनमें 46 लोगों को गिरफ्तार किया गया।
NCB-CRPF का बड़ा एक्शन, इंटरनेशनल ड्रग सिंडिकेट का किंगपिन गिरफ्तार
